Sep 16, 2014

कर्तव्य


(1)
उन्होंने देखा 
खेलते हुए कुछ बच्चों को 
और बाकी सब कुछ की तरह ही 
चाहा ये सब भी मेरे पास हो !

(2)
वो सोचते थे 
अपने भविष्य के बारे में 
तलाशते थे अकेलेपन का विकल्प 
और हर बार उन्हें यही मिलता था 

(3)
उन्हें पता था 
अपनी थकान का 
कुछ साल बाद की ढलान का 
उन्हें चाहिए थी कोई नयी ऊर्जा 
कुछ और हाथ 
खुद से कुछ वक़्त पीछे चलने वाले !

(4)
वो चाहते थे 
निभाना अपना किरदार 
इस खेल में 
हिस्सा लेना बराबरी का 
और उन्होंने फिर वही किया 
जो उनसे अपेक्षित था 
और इस तरह उन्होंने कुछ नहीं किया 
की वो दौड़ाये जाते रहे संसार के द्वारा 
और इस तरह वो मुक्त रहे कर्मों से 
हर वक़्त कर्तव्यों में फंसे रहकर !

अ से

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