रोटी को पाँव से दबाए
तलाशी जा रही है हड्डी
फ़ोन होल्ड पर रख कर
झांकी जा रही है खिड़की
कॉलेज अलग बात है फेसबुक अलग
घर की छत और एक अलग दुनिया
ऐसा करो तुम सारे लड़ो
और जीतने वाला नवाजा जायेगा
द रियल मेन की उपाधी से
जो दे दिया जाएगा पुरूस्कार में
और फिर उस बलवान को पत्थर दिल बता
तलाश लिया जाएगा
कहीं कोई हरक्युलिस
युद्ध पर गए हरक्युलिस के
समय ना देने के लिए
बेरोजगार किसी दिल से बतियाया जाएगा
फिर उस निराश कंधे की बातों पर
बनाया जाएगा उसके सेंस ऑफ़ ह्यूमर का व्यंग्य
बायें से भायेगा कोई जो हँसा सके
और शिकायत की जायेगी
उसके ना सुनने की कमजोरी की
आखिर में कोई आएगा
जो उसे पूरी तरह से नकार कर
सब्ज बाग़ दिखलायेगा
और रसपान कर
भँवरे सा उड़ जाएगा
अब उस बेवफ़ा को कोसा जाएगा जिन्दगी भर
आखिर सारे आदमी एक से ही होते हैं ना !!